सबको खुश रखने वाले को हम दुखी कैसे रहने देंगे ? एक बहुत सुन्दर सी सच्ची कहानी |
एक बार एक लड़का अपने स्कूल की फीस भरने के लिए एक दरवाजे से दूसरे दरवाजे तक कुछ सामान बेचा करता था, एक दिन उसका कोई सामान नहीं बिका और उसे बड़े जोर से भूख भी लग रही थी | उसने तय किया कि अब वह जिस भी दरवाजे पर जायेगा, उससे खाना मांग लेगा | दरवाजा खटखटाते ही एक लड़की ने दरवाजा खोला, जिसे देखकर वह घबरा गया और बजाय खाने के उसने पानी का एक गिलास पानी माँगा | लड़की ने भांप लिया था कि वह भूखा है, इसलिए वह एक बड़ा गिलास दूध का ले आई, लड़के ने धीरे-धीरे दूध पी लिया |" कितने पैसे दूं ?" लड़के ने पूछा " पैसे किस बात के?" लड़की ने जवाव में कहा." माँ ने मुझे सिखाया है, कि जब भी किसी पर दया करो तो उसके पैसे नहीं लेने चाहिए." " तो फिर मैं आपको दिल से धन्यबाद देता हूँ." जैसे ही उस लड़के ने वह घर छोड़ा , उसे न केवल शारीरिक तौर पर शक्ति मिल चुकी थी , बल्कि उसका भगवान् और आदमी पर भरोसा और भी बढ़ गया था | सालों बाद वह लड़की गंभीर रूप से बीमार पड़ गयी | गाँव के डॉक्टर ने उसे शहर के बड़े अस्पताल में इलाज के लिए भेज दिया | विशेषज्ञ डॉक्टर ली होवार्ड केल्ली ...