दोस्ती सच्ची हो तो बहुत खुछ हो जाता है;' चुटकुला और चिंता, किस्सा और कहानी, ग़ज़ल और गीत'

दोस्ती सच्ची हो तो बहुत खुछ हो जाता है;' चुटकुला और चिंता, किस्सा और कहानी, ग़ज़ल और गीत':-

दोस्ती सच्ची हो तो वक्त रुक जता है, आस्मा लाख ऊँचा हो मगर झुक जता है |
दोस्ती मे दुनिया लाख बने रुकावट, अगर दोस्त सचा हो तो खुदा भी झुक जता है |

दोस्ती वो एहसास है जो मिटती नही. दोस्ती पर्वत है वोह, जोह झुकता नही |
इसकी कीमत क्या है पूछो हमसे, यह वो "अनमोल" मोती है जो बिकता नही |

सच्ची है दोस्ती आजमा के देखो.. करके यकीन मुझपर मेरे पास आके देखो |
बदलता नही कभी सोना अपना रंग, चाहे जितनी बार आग मे जला के देखो |


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